बिहार बोर्ड आ आईआईटी के रिजल्ट निकलल
काल्हु आईआईटी प्रवेश परीक्षा के रिजल्ट निकलल जवना में बिहार के मशहूर सुपर थर्टी के चौबीस गो छात्र सफलता हासिल कइले. पुलिस अधिकारी अभयानंद का देख रेख में चले वाली एगो दोसर संस्था के पैंतीस गो छात्र सफल भइले. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बिहार के सफल छात्रन के बधाई देत कहलन कि बिहार के छात्र मेधावी होलें आ एही चलते एह परीक्षा में बिहारी छात्रन के बढ़िया सफलता मिलल बा. काल्हुवे घोषित बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के मैट्रिक परीक्षा के परिणाम में सड़सठ फीसदी छात्र पास भइल बाड़े.
प्राइवेटो स्कूल खातिर जरुरी बनावल गइल टीईटी
बिहार सरकार के फैसला का बाद अब बिहार में स्कूल चलावे वाला धंधेबाजन के नकेल कसल जाई. जान पहिचान आ नाता रिश्तेदारी वालन के मास्टर बनावल आसान ना रही काहे कि सभका टीईटी परीक्षा पास करे के पड़ी. टीईटी मतलब टीचर एलिजिबिलीटी टेस्ट, शिक्षक पात्रता परीक्षा. हर स्कूल के तिस छात्र पर एगो शिक्षक राखे के होखी. जे लोग अबही टीईटी पास नइखे ओह लोग के पाँच साल का भीतर ई परीक्षा पास कर लेबे के पड़ी ना त उनुका के निकाल दिहल जाई आ अगर प्रबन्धन ना निकलसि त प्रबन्धन पर कार्रवाई होखी. एक कमरा में तीस से बेसी छात्र ना बइठावल जा सके. माने कि हर तीस छात्र पर एगो सेक्शन बनावे के पड़ी.
यूपी में इमरजेन्सी मेडिकल ट्रांसपोर्ट
यूपी सरकार फैसला लिहल गइल बा कि राज्य के हर प्रखण्ड में एगो बेसिक लाइफ सपोर्ट वाला एबुलेन्स, दस लाख से बेसी आबादी वाला जिला मुख्यालयन पर चार गो, आ बाकी जिला मुख्यालय पर दु दू गो एंबुलेन्स रही जवना से मरीजन के समय पर अस्पताल चहुँपावल जा सके. एह योजना में निजी क्षे्त्र के सहयोग से ९८८ गो लाइफ सपोर्ट एमंबुलेन्स चलावल जाई.
दिल्ली हाई कोर्ट का बाहर बम विस्फोट
काल्हु दिल्ली हा६ कोर्ट का बाहर एगो कम ताकत के बम विस्फोट भइल जवना में जान माल के कवनो नुकसान होखे के खबर नइखे. बाकिर ओकरा बाद दिल्ली आ यूपी में हाई अलर्ट जारी कर दिहल गइल, विस्फोट कइसे आ काहे भइल एकर जाँच कइल जा रहल बा.
नौ गो मु्न्ना भाई पकड़इले
बुध का दिने दोसरा का जगहा मेडिकल प्रवेश परीक्षा देत नौ गो मुन्नाभाई के पकड़ल गइल. एहमें से अकेले गोरखपुर में छह जने के गिरफ्तार कइल गइल बा. एह गिरफ्तारियन का बाद पुलिस का हाथे एगो बड़हन नेटवर्क, जवन बिहार ले पसरल बा, के सुराग हाथे लागल बा.
सरकार आ सुपर सरकार में तनातनी
केन्द्र सरकार आ ओकरा पर नजर राखे वाली सोनिया के अध्यक्षता वाला नेशनल एदवाइजरी कमिटी का बीच मतभेद सामने आइल बा. एनएसी सरकार के ग्रामीण मंत्रालय से सवाल पूछले बा कि गरीबी के मापदण्ड बिना ओकरा से कवनो राय मशविरा के कइसे तय कर लिहल गइल. अब अगिला बुध के मंत्रालय एनएसी का सोझा आपन जबाब पेश करी.